सार्थक दुनिया न्यूज़, पटना
सीवोट के सर्वे के मुताबिक महागठबंधन टूटने का सबसे ज्यादा फायदा तेजस्वी यादव को मिलता दिख रहा है। वहीं सर्वे में कहा गया है कि अगर अभी चुनाव होता है तो सबसे ज्यादा लोग महागठबंधन को वोट करेंगे।
पटना | “बिहार में राजनीतिक उलटफेर के बाद चुनाव के समीकरण बदलने का भी दावा किया जा रहा है। सी-वोटर के सर्वे के मुताबिक भाजपा-जेडीयू गठबंधन टूटने का फायदा महागठबंधन को मिलेगा। सर्वे में दावा किया गया है कि अगर अभी चुनाव कराए जाते हैं तो 48 फीसदी लोग महागठबंधन को वोट करेंगे, वहीं 31 फीसदी भाजपा को वोट देंगे। हालांकि यह समझने लायक यह भी है कि वोट प्रतिशत में बहुत ज्यादा फर्क नहीं पड़ रहा है। अंतर सिर्फ इतना पड़ रहा है कि अब जेडीयू भाजपा के साथ नहीं रहेगी।
विधानसभा चुनाव में भी आरजेडी को 75 सीटों पर जीत हासिल हुई थी और वह सबसे बड़ी पार्टी थी। वहीं भाजपा दूसरे नंबर की पार्टी थी। जेडीयू को केवल 43 फीसदी सीटों पर ही जीत हासिल हुई थी। सर्वे यह भी बता रहा है कि आज भी अगर जेडीयू और भाजपा साथ होते तो बिहार में इस गठबंधन की सरकार बन सकती थी।”
महागठबंधन टूटने का फायदा किसे?
सीवोटर के सर्वे में कहा गया है कि महागठबंधन टूटने का फायदा सबसे ज्यादा तेजस्वी यादव को मिलेगा। 48 फीसदी लोगों ने तेजस्वी को फायदा मिलने की बात कही है। वहीं केवल 20 फीसदी लोगों का कहना है कि इसका फायदा नीतीश कुमार को मिलेगा। वहीं भाजपा के पक्ष में बात करने वाले केवल 17 प्रतिशत हैं।
मुख्यमंत्री के तौर पर कौन पहली पसंद?
बिहार में गठबंधन किसी के भी साथ रहा हो लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ही रहे हैं। हालांकि सीवोटर के सर्वे में सामने आया है कि 43 फीसदी लोग तेजस्वी यादव को बेहतर सीएम मानते हैं। वहीं केवल 24 प्रतिशत लोग नीतीश कुमार को बेहतर सीएम के तौर पर देखते हैं। 19 फीसदी लोग भाजपा का मुख्यमंत्री चाहते हैं।
कम नहीं हुई मोदी की लोकप्रियता
बिहार में विधानसभा का चुनाव नीतीश कुमार का चेहरा आगे करके लड़ा गया था। हालांकि प्रधानमंत्री मोदी भी प्रचार में काफी ऐक्टिव थे। बिहार में भले ही एनडीए की सरकार गिर गई है लेकिन अब भी पीएम मोदी की लोकप्रियता में कमी नहीं आई है। बिहार के लोगों का पसंदीदा प्रधानमंत्री आज भी मोदी ही हैं। सी वोटर के सर्वे में दावा किया गया है कि 44 फीसदी लोगों ने पीएम मोदी को प्रधानमंत्री के रूप में पसंद किया। वहीं नीतीश कुमार को पसंद करने वाले लोग केवल 22 फीसदी हैं। 18 फीसदी लोगों ने पीएम के तौर पर राहुल गांधी को भी पसंद किया। बता दें कि चर्चा चल रही थी कि नीतीश कुमार 2024 में प्रधानमंत्री का चेहरा हो सकते हैं।
लोकसभा में कितना नुकसान?
सर्वे के मुताबिक अगर अभी लोकसभा चुनाव होते हैं तो एनडीए को बड़ा नुकसान हो सकता है। एनडीए को 2019 के लोकसभा चुनाव में 29 सीटों पर जीत मिली थी। वहीं अभी चुनाव होने पर उसे 25 सीटों का नुकसान होगा और केवल 14 सीटों पर सिमट जाएगा। वहीं महागठबंधन को इन 25 सीटों पर फायदा मिलेगा और 1 सीट से यह 26 पर पहुंच जाएगा।